चरथावल/मुजफ्फरनगर : शवों के अंतिम संस्कार के लिए भी खड़ी हो रही मुश्किल - PHM NEWS, Hindi News

चरथावल विकासखण्ड के सिकंदरपुर के ग्रामीणों की जिंदगी रोज बल्लियों के पुल पर हिचकोले खा रही है। गुजर-बसर के लिए रोजाना लकड़ी का पुल पार करते समय मौत का सामना करना पड़ रहा है। वजह है गांव का सैकड़ों बीघे का रकबा हिंडन नदी के पार है। खेतों में जाने के लिए किसानों और मजदूूरों को नदी पार करनी होती है। पुल की दूरी चार से पांच किमी दूर है, ऐसे में ग्रामीणों को लंबा चक्कर लगाने में परेशानी होती है। ग्रामीणों ने सुविधा के लिए लकड़ी का पुल तैैयार किया है और स्थायी पुल की मांग कर रहे हैं। सिकंदरपुर के श्मशान घाट नदी के पार होने के कारण शवों का अंतिम संस्कार करने पानी में गुजर कर जाना पड़ता है। महिलाओं को लकड़ी के पुल से जोखिम उठाकर पशुओं के घास लाना पड़ता है। कई बार महिलाएं गिरने से चोटिल हो जाती है। सालों से ग्रामीण टकटकी लगाए है, आखिर कब पुल बनेगा?

नदी पार है श्मशान की भूमि

ग्राम प्रधान मौ. रजा कहते है नदी पार श्मशान की जमीन है। लेकिन अभी तक श्मशान घाट का निर्माण नहीं हो पाया है। लोगों को मजबूरन बदमिजाज मौसम में नदी की ढ़ांग पर शव का अंतिम संस्कार करने को विवश होना पड़ता है।

प्रशासन से लगा चुके गुहार

पूर्व प्रधान के पति बुजुर्ग दलमीर सिंह का कहना है गांव वाले प्रशासन से कई बाद श्मशान घाट और पक्के पुल के निर्माण की मांग करते आ रहे है। जनप्रतिनिधियों से सिर्फ आश्वासन मिला। समस्या जस की तस है। बुग्गी और ट्रैक्टर ट्राली लेकर किसानों को लंबी दूरी तय कर गन्ना छिलाई और अन्य कार्यों के लिए जाना पड़ता है।

लकड़ी के पुल चलना जोखिम भरा

ग्रामीण कृष्ण पाल ने बताया महिलाएं और किसानों को नदी पार से घास लाने में दिक्कत होती है। कई बार संतुलन बिगड़ने से महिलाएं और बच्चें नदी में गिर कर चोटिल हो चुके है। तीन साल से भाकियू पुल निर्माण की मांग उठा रहा है।

पाइप डलवाकर तत्काल हों समाधान

भाकियू के ग्राम अध्यक्ष आलम कहते है प्रशासन को पक्का पुल बनने तक हयूम पाइप डलवाकर जोखिम दूर करना चाहिए। जिससे किसानों और आमजन की दिक्कत कम हों। तीन दिन पूर्व प्रशासन की उदासीनता के कारण ग्रामीणों को पानी में बैठकर धरना देना पड़ा था।

 

लोनिवि के अधिशासी अभियंता जेपी सिंह ने बताया सेतु निगम की टीम के साथ एसडीओ गए थे। हिंडन पर पुल निर्माण के संबंध में उनकी रिपोर्ट आने के बाद अगली प्रक्रिया चालू होगी। उधर, राजस्व निरीक्षक प्रवीण कुमार ने बताया राजस्व अभिलेखों में सिकंदरपुर का रकबा नदी के एक किनारे ही दर्ज है। लेकिन वक्त के साथ नदी का स्वरूप बदला और उसने रास्ता बदल लिया। जिससे करीब 20 हेक्टेयर जमीन नदी पार चली गई। कच्चा श्मशान घाट भी दूसरी तरफ है।

lalit sharma owner Phm News

Lalit Sharma हिंदी पत्रकारिता में पिछले 14 वर्षों से है। ये कई टीवी और डिजिटल मीडिया में कई बड़े संस्थानों में कार्य कर चुके है। इस दौरान कई बड़ी राजनीतिक हस्तियों के साक्षात्कार कर चुके है साथ ही खबरों के मानदंडों से भली भांति परिचित है। वर्तमान में राजनीति,अपराध और प्रशासनिक खबरों के लिए Delhi NCR से PHM NEWS के साथ जुड़े है। इनसे संपर्क करने के लिए [email protected]

By Lalit Sharma

Lalit Sharma हिंदी पत्रकारिता में पिछले 14 वर्षों से है। ये कई टीवी और डिजिटल मीडिया में कई बड़े संस्थानों में कार्य कर चुके है। इस दौरान कई बड़ी राजनीतिक हस्तियों के साक्षात्कार कर चुके है साथ ही खबरों के मानदंडों से भली भांति परिचित है। वर्तमान में राजनीति,अपराध और प्रशासनिक खबरों के लिए Delhi NCR से PHM NEWS के साथ जुड़े है। इनसे संपर्क करने के लिए [email protected]